जिंदगी जीने के लिए किसी न किसी माध्यम की जरूरत होती है। इसी तरह जिंदगी में सफल होने के लिए किसी ने किसी माध्यम की जरूरत पड़ती है। मेरी जिंदगी के 40 साल किस तरह गुजर गए मैं कभी समझ ही नहीं पाया। मैंने जितने भी डिग्रियां हैं सभी कर रखी थी। लेकिन इसके बावजूद भी फुटपाथ पर मूंगफली का ठेला लगाकर बेचता था। मैंने उसे यह अपनी जिंदगी समझ लिया था।
मैं यह नहीं समझा था कि मेरी जिंदगी में अब भी कुछ बदलाव होने वाला है। बस सुबह जल्दी उठता मंडी जाता वहां से मूंगफली लाता और शाम को नुक्कड़ वाली गली के पास अपना ठेला लगा देता। मेरी बिक्री तो अच्छी हो जाती थी लेकिन मेरी पढ़ाई लिखाई पूरी तरह से व्यर्थ हो गई थी। इसलिए रात को मैं कभी-कभी घंटों सोचता रहता था। मैंने जितनी भी वेबसाइट हैं सभी पर देखा और उन्हें ट्राई भी किया।
इसके बाद एक दिन मेरी नजर Sarkari Naukri Fast नाम की एक वेबसाइट पर पड़ी। उस पर पूरे भारत की नौकरियों की जानकारी संक्षिप्त में दी जाती है। मैंने जब उसे देखा तो सुबह उठकर मैं रोजाना उसे एक बार जरूर देखने लगा। एक बार बीएड की परीक्षा का आवेदन निकला। मैंने मजाक मजाक में उसी वेबसाइट Sarkari Naukri Fast पर ऑनलाइन आवेदन कर दिया।
इसके बाद जब एडमिट कार्ड का टाइम आया तब मैंने देखा Sarkari Naukri Fast पर एडमिट कार्ड उपलब्ध कराए जा चुके थे। मैंने तुरंत एडमिट कार्ड डाउनलोड किया और किसी तरह परीक्षा देने चला गया। मैंने यह कभी कल्पना भी नहीं की थी कि मुझे भविष्य में मूंगफली बेचने से भी अच्छा काम मिल सकता है। लेकिन Sarkari Naukri Fast ने मेरी किस्मत ही बदल दी। मैं परीक्षा देकर आया तो मुझे ऐसा आभास हो रहा था कि मैंने सिर्फ अपना कर्तव्य निभाया है बाकी पास या फेल होना वह भविष्य पर जाता है।
यह सोचकर में फिर अपने काम में जुट गया इसके बाद जब रिजल्ट आया तब मैंने Sarkari Naukri Fast पर देखा। रिजल्ट में मैं पास हो गया था। मुझे थोड़ी सी खुशी हुई थी। यह बात ज्यादा पुरानी नहीं है लेकिन मेरी खुशियां और भी ज्यादा खुशियां में बदलने वाली हैं। इसकी कल्पना मैंने सपने में भी नहीं की थी। किसी तरह मैंने काउंसलिंग कराई और एक स्कूल मैं एडमिशन ले लिया।
एक साल में मैंने बीएड की परीक्षा पास कर ली और उसके बाद फिर अपनी मूंगफली के ठेले को लगाने लगा लेकिन उसी समय काफी सारी वैकेंसी आ गई और मैंने अपना फार्म भर दिया। मेरी किस्मत ने ऐसा साथ दिया कि मेरा उन वैकेंसीयों में स्थान आ गया। मेरे खुशी का ठिकाना नहीं था।
मैं आज जूनियर स्कूल में प्रधानाध्यापक हूं और Sarkari Naukri Fast का बहुत-बहुत शुक्रगुजार हूं। जिसने मुझे टाइम पर सभी जानकारियां देकर इस मंजिल तक पहुंचाया। आज के समय में ज्यादा तो नहीं कम से कम अपने बच्चों को अच्छी तरह से शिक्षा दे पा रहा हूं। अच्छी तरह से खाना खिला पा रहा हूं और अच्छे अच्छे कपड़े पहन पा रहा हूं। साथ ही समाज के बच्चों को अच्छी शिक्षा देने की कोशिश कर रहा हूँ। मेरे पास गाड़ी घोड़ा इत्यादि नहीं है किंतु इसके बावजूद मैं बहुत ही खुश हूं। मैं आप सभी लोगों को भी राय देना चाहूंगा कि मेहनत तो खुद ही करनी पड़ती हैं लेकिन अगर सही और सटीक जानकारी समय पर मिल जाए तो हमारा समय बचता है। उसके साथ साथ हमारा उत्साह भी बढ़ता है।
इसलिए Sarkari Naukri Fast का आप लोग भी अवलोकन जरूर करें और आप लोग भी Sarkari Naukri Fast पर अपलोड नौकरियों से फायदा उठाएं। मैं आशा करता हूं आप लोगों को निश्चित ही सफलता मिलेगी। जिस तरह आज मैं सफल हुआ हूं। उसी तरह आप लोगों को भी सफलता मिले यह मैं भगवान से कामना करता हूं।
धन्यवाद !
राधेश्याम तिवारी
226/3 फतेहगढ़, फर्रुखाबाद
उत्तर प्रदेश
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